क्या हम सभी कोरोना पर विजय प्राप्त कर लेगें ?
कोरोना जैसी महामारी में हर संक्रमित व्यक्ति इस महामारी से बचाव के उपाय ढूढ़ने में लगा हुआ है।लोगों के मन में भी कई प्रकार के प्रश्न आ रहे हैं कि इस महामारी में अपने आप को पॉजिटिव होने से कैसे बचाया जाये।
इन सभी समस्याओं के समाधान के लिए ये आर्टिकल है।
2020 में जब इस महामारी ने देश में कदम रखा तो किसी ने भी नही सोचा था कि 2021 में ये महामारी अपने चरम पर होगी। इस महामारी ने चारों तरफ तबाही मचा के रखी है। इसमें थोड़ी सी भी लापरवाही गंभीर हो सकती है। केन्द्र सरकार और राज्य सरकारें हर स्तर पर प्रयास करने में लगी हुयी है, लेकिन विश्व की दूसरी जनसंख्या वाला देश आज इस पर नियंत्रण कर पाने में असमर्थ है। संक्रमण बढ़ने के कई कारण है। जिस पर हम विस्तार से चर्चा करने का प्रयास करेगें।
चीन के वुहान शहर से फैला ये वायरस आज देश के कोने-कोने तक पहुंच चुका है। 2020 में अमेरिका में जिस स्तर पर मौतें हो रही थी, वही स्थिति आज भारत की हो गयी है। बाकी की कसर पांच राज्यों में सम्पन्न हुये विधानसभा चुनाव ने पूरे कर दिये, उक्त के अलावा उत्तर प्रदेश में भी हाल ही सम्पन्न हुये पंचायत चुनावों ने स्थिति को और बिगाड़ कर रख दिया।
संक्रमण के कौन से कारण है जिसके कारण आज स्थिति और भयावह होती जा रही है।
1. ज्ञातव्य है कि 2020 के मार्च माह में जब पूरे भारत में लॉकडाउन हुआ, तब स्थिति इतनी विकराल नही थी, जितनी आज की तारीख में है। क्योंकि उस वक्त आवागमन के सारे साधन यथा वायुयान सेवा, रेल सेवा, बस सेवा आदि सब कुछ बन्द कर दिया गया था। भारत में एक साथ लॉकडाउन होने से संक्रमण का प्रसार इतनी तेजी से नही हुआ, लेकिन आज 2021 में आज पूरा देश खुला हुआ है, आवागमन के सारे संसाधन भी चल रहे है। उत्तर साफ है यदि लोगों का आवागमन जितना तेज होगा, संक्रमण भी उतनी तेजी से फैलेगा।
2. अभी हाल ही पाँच राज्यों के विधानसभा चुनाव से पहले कई राज्यों में जोर शोर से प्रचार प्रसार किया गया, जो काफी गलत था, इन जनसभावों में बहुत लोगों के इकट्ठा होने से तथा किसी के द्वारा भी कोविड का पालन न करने के कारण भी ये वायरस तेजी से फैला।
3. सभी प्रकार के प्रतिष्ठानों को एक साथ खोलने की अनुमति देने, स्कूलों को भी खोलने की अनुमति देने, माल, मल्टीप्लेक्स आदि को भी खोलने की अनुमति देने के कारण इस तरह की भयावह स्थिति उत्पन्न हुई, जो संक्रमण का कारण बनी।
4. उत्तराखंड सरकार द्वारा हाल ही हरिद्वार में कुंभ के स्नान को अनुमति देने का फैसला भी पूरी तरह से गलत था, यहां तक कि वहां के प्रशासन ने भी इस पर साफ-साफ कह दिया था कि इतनी भीड़ को नियंत्रण में करना किसी के बस की बात नही है। इस तरह के आयोजन को अनुमति देना किसी भी स्तर पर न्यायसंगत, तर्कसंगत नही लगता है। हरिद्वार में आयोजित हुआ ये कुंभ स्नान संक्रमण के प्रसार का भी सबसे बड़ा कारण था। ना जाने कितने संक्रमित लोगों ने गंगा में डुबकी लगायी और अपने साथ-साथ अपने परिवार के लोगों में भी संक्रमण का प्रसार कर दिया।
5. अभी हाल ही उत्तर प्रदेश में सम्पन्न हुये पंचायत, प्रधानी चुनावो के कारण भी गांव में लोगों ने घर-घर जाकर प्रचार प्रसार किया, जिसके कारण न सिर्फ गांवों में भी संक्रमण फैला, बल्कि मतगणना वाले दिन भी मतगणना स्थल पर लोगों ने किसी भी प्रकार के कोविड प्रोटोकॉल का पालन नही किया, जिससे अब संक्रमण का प्रसार गांवों में भी होने लगा है। जिससे स्थिति और बिगड़ने लगी है।
ये तो कुछ कारण थे, जिनके कारण संक्रमण फैलता चला जा रहा है, इन सबके अलावा ऐसे बहुत सारे कारण है, जिनके कारण आज संक्रमण का प्रसार बहुत तेजी से हो रहा है। और दिन-प्रतिदिन मरने वालों की संख्या बढ़ती ही जा रही है। संक्रमण के तेजी से फैलने के कारण लोग बहुत तेजी से वायरस का शिकार हो रहे है, जिनमें कई गंभीर लक्षण भी दिखायी दे रहे है, जिसके कारण उनमें ऑक्सीजन का स्तर कम होता जा रहा है, जिसके कारण लोगों को ऑक्सीजन हेतु अस्पतालों में एडमिट करवाना पड़ रहा है। आज अस्पतालों की स्थिति ऐसी हो गयी है कि अस्पतालों में ऑक्सीजन की कमी के कारण कई गंभीर मरीजों की मृत्यु भी हो रही है।
लेकिन इधर सरकार द्वारा इस दिशा में तेजी से कार्य किया जा रहा है।
सरकार द्वारा किये जा रहे बेहतरीन प्रयासों के लिए पर भी नजर डालते हैं
(क)- भारत सरकार द्वारा कई देशों से ऑक्सीजन को ट्रांसपोर्ट करके अस्पतालों तक पहुंचाने के लिए कई देशों जैसे सिंगापुर, सऊदी अरब आदि से क्रायाजेनिक टैंकर भी मंगवाये गये है जिससे ऑक्सीजन की आपूर्ति सही प्रकार से हो सकें।
(ख)- ऑक्सीजन की आपूर्ति सही प्रकार से हो सकें। केन्द्र सरकार ने भी सारे संसाधन लगा दिये है जिससे किसी भी प्रकार का विलम्ब न होने पाये।
(ग)- जर्मनी से ऑक्सीजन जनरेशन प्लांट भी मंगवाये गये है, जिससे देश में ही ऑक्सीजन का उत्पादन बढ़ाया जा सके।
(घ)- ऑक्सीजन आपूर्ति के अलावा वैक्सीनेशन भी बहुत तेजी से हो रहा है। सरकार का भी यही प्रयास है कि ज्यादा से ज्यादा लोगों का वैक्सीनेशन किया जाये। क्योंकि इस चेन का टूटना बहुत जरूरी है। और वैक्सीनेशन से ही इसे रोका जा सकता है।
(ड़) इस कार्य में तेजी लाये जाने तथा समय बचाने हेतु हवाई और रेल सेवा का प्रयोग भी किया जा रहा है, जिससे समय पर ऑक्सीजन तथा अन्य संसाधनों की आपूर्ति सुनिश्चित हो सकें। इन सब कार्यो के लिए वायु सेना युद्ध स्तर पर भी काम कर रही है।
इन सबके अलावा सरकार ऐसे बहुत सारे प्रयास भी कर रही है, जिससे लोगों को भरपूर राहत मिल सकें।
(1)- जिस प्रकार से देश में संक्रमण का प्रसार तेजी से फैल रहा है, उसको देखते हुए सिर्फ सरकार ही नही, बल्कि लोगों को भी इस बात के लिए जागरूक होने की जरूरत है कि अनावश्यक रूप से घर से बिल्कुल भी बाहर नही निकलना है। क्योंकि बाहर सिर्फ आपको संक्रमण ही मिलेगा, इसके अलावा कुछ भी नही।
(2)- डब्ल्यू.एच.ओ., भारत सरकार, राज्य सरकारें तथा स्वास्थ्य मंत्रालय के अलावा सभी बड़े डॉक्टर भी इसी बात पर जोर दे रहे हैं कि बिना मॉस्क आपको अपने घर से कहीं भी नही निकलना है।
(3)- किसी भी वैवाहिक कार्यक्रम, सभा, रैली अथवा भीड़भाड़ वाली जगह पर जाने से बचना है। क्योंकि भीड़ में कई संक्रमित आपको घूमते हुए मिल जायेगे।
(4)- कहीं भी बाहर से आकर अपने परिवार के सीधे सम्पर्क में बिल्कुल भी नही आना है, क्योंकि बाहर से आकर आप एक कैरियर के रूप में संक्रमण को लेकर चल रहे होते है।
(5)- बार-बार डॉक्टरों द्वारा ये कहा जा रहा है कि आपको अपनी साफ-सफाई का ध्यान देना है, हाथों को बार-बार धोना है, अपने हाथों से बार बार अपने मुंह को नही छूना है।
(6)- सरकार द्वारा बताये गये उन सारे कोविड नियमों का पालन करना है।
(7)- सरकार द्वारा पहले सिर्फ 45 वर्ष से ऊपर के लोगों हेतु ही टीकाकरण का रजिस्ट्रेशन किया जा रहा था, लेकिन 1 मई, 2021 से इसे 18 वर्ष से 44 वर्ष तक के लोगों को भी टीकाकरण हेतु पंजीकरण प्रारम्भ कर दिया गया है। इसलिए वैक्सीनेशन जरूर करवायें। इस पोर्टल पर जाकर आज ही आप अपना पंजीकरण करवा सकते हैं।
(8)- सरकार द्वारा अभी तक दो वैक्सीन को मंजूरी दी गयी है, पहली है कैवैक्सीन और दूसरी कोविशील्ड। ये दोनों वैक्सीन का उत्पादन भारत में ही हुआ है, और ये पूरी तरह से सुरक्षित है। वैक्सीन का कार्य हमारे शरीर में एण्टीबॉडी का निर्माण करना है। जो इस वायरस से लड़ने में मदद करता है। और हमारी रोग प्रतिरोधक क्षमता को भी बढ़ाता है।
कुछ ऐसे प्रश्न जो लोगों के द्वारा पूछे जाते है।
जैसे- 1. कोरोना से संक्रमित हो जाने पर कितने दिन बाद रिपार्ट निगेटिव आती है?
2. क्या वैक्सीनेशन करवाने के बाद हम संक्रमित नही होगें?
3. रैपिड टेस्ट और आर.टी.पी.सी.आर टेस्ट में क्या अन्तर है?
4. कोरोना हो जाने पर क्या सावधानियां रखनी है?
5. कोरोना की दो वैक्सीन हमारे शरीर के लिए सही है या नही?
6. हमें कोरोना में क्या घरेलु उपाय करने चाहिए?
7. ये महामारी कब खत्म होगी?
8. कोरोना में किन-किन दवाईयों का सेवन किया जाये?
9. कोरोना हेल्पलाइन नम्बर क्या है?
10. कोरोना में क्या शराब पी सकते है या नही?
और न जाने ऐसे बहुत सारे प्रश्न जो हमारे दिमाग में चलते रहते हैं, जिनका उत्तर हर व्यक्ति जानना चाहता है।
सभी प्रश्नों के उत्तर आप इन बिन्दुओं के माध्यम से जान सकते है।
1. देखिए कोरोना संक्रमित होने के बाद डॉक्टर द्वारा 14 दिनों तक आइसोलेशन में रहने की सलाह दी जाती है, यहां पर ये भी तथ्य है कि जिनकी रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत होती है, वो जल्दी ठीक हो जाते है। अक्सर ऐसा देखा गया है जिनकी रिपोर्ट 5-7 दिनों में भी निगेटिव भी आ गयी है।
2. सरकार तथा बड़े-बड़े डॉक्टर भी यही कह रहे है कि वैक्सीनेशन के बाद भी आप संक्रमित हो सकते है, लेकिन आपके शरीर में प्रर्याप्त एण्टीबॉडी होने से आपको ज्यादा नुकसान हो ही नही सकता। किसी-किसी में वैक्सीनेशन करवाने के बाद हल्की घबराहट, बुखार या सरदर्द जैसी शिकायत भी आती है, लेकिन इसमें घबराने की कोई बात नही है।
3. देखिए रैपिट एंटीजन टेस्ट की रिपोर्ट जल्दी आ जाती है, और इसकी प्रमाणिकता 50 प्रतिशत तक ही सही मानी जाती है, वहीं दूसरी तरफ आर.टी.पी.सी.आर टेस्ट में बारीकी से इसका अध्ययन किया जाता है, और इसमें सटीक आंकड़े भी मिलते है, जिसकी सक्सेस रेट 70 प्रतिशत से ऊपर ही जाता है।
4. सरकार द्वारा और बड़े-बड़े डॉक्टरों द्वारा बार-बार सिर्फ मॉस्क पहनने, साफ-सफाई का विशेष ध्यान देने और भीड़भाड़ वाली जगहों पर जाने के लिए बार मना किया जाता है। जिसका पालन हम सभी को करना चाहिए।
5. कोई भी वैक्सीन कई परीक्षणों से होकर हमारे लिए उपलब्ध होती है, जिसमें सरकार की मंजूरी भी होती है, सरकार जनस्वास्थ्य के बारे में ध्यान रखकर ही इन उत्पादों को मंजूरी देती है, इसलिए इस पर विश्वास करते हुए हमें अपने और अपने परिवार के वैक्सीनेशन पर ध्यान देना चाहिए।
6.आज की तारीख में एक समझदार व्यक्ति कोरोना प्रोटोकॉल के बारे में वो सारी बाते जानता है, जो उसे जानना चाहिए। सरकार द्वारा समय-समय जागरूकता कार्यक्रम चलाकर लोगों को यही संदेश दिया जा रहा कि आप अपने घर से बिल्कुल भी न निकले, नियमों का पालन करें, भारत सरकार के आयुष मंत्रालय की तरफ से कुछ घरेलु उपाय भी बताये गये है, जैसे काढ़े का सेवन, गर्म पानी/गुनगुना पानी, दो समय भाप लेना, मॉस्क पहनना, खान-पान का विशेष ध्यान देना, कोरोना पॉजीटिव हो जाने पर घर में अकेले आइसोलेशन में रहना इत्यादि के साथ व्यायाम तथा योगा करने की सलाह भी डाक्टरों तथा आयुष मंत्रालय द्वारा लोगों को दी जा रही है।
7.महामारी तभी खत्म हो सकती है, जब हम स्वयं यह ठान लें, कोई भी इतनी जल्दी खत्म नही होती, न्यूजीलैण्ड तथा ब्रिटेन जैसे देशों ने लगभग इस पर नियंत्रण भी पा लिया है। और हम भी जल्द इस पर नियंत्रण पा लेगें। लेकिन उसके लिए जरूरी है, सरकार द्वारा बताये गये निर्देंशों का पालन, टीकाकरण करवाना, तथा वो सभी उपाय जो सरकार हमें करने के लिए कहती है।
8. किसी भी दवाई का सेवन करने से पहले अपने विशेषज्ञ डॉक्टरों से परामर्श बिल्कुल लेना ना भूले। अपने आप किसी भी प्रकार की दवाई को खाने से बचना चाहिए, जब तक कि उसके साइड इफेक्ट के बारे में आपको मालूम न हो। इसलिए सिर्फ अपने डॉक्टर द्वारा बताई गयी दवाई का ही सेवन करें।
9. कोरोना हेल्पलाइन नम्बर 1075 है, जिस पर 24 घण्टे सेवाएं उपलब्ध है, उक्त नम्बर भारत सरकार द्वारा जारी किया गया राष्ट्रीय हेल्पलाइन नम्बर है, जिस पर कॉल करके कोविड सम्बन्धी किसी भी प्रकार की शिकायत को दर्ज कराया जा सकता है। उक्त के अलावा सभी राज्यों द्वारा अपने-अपने राज्यों में अलग-अलग नम्बर भी अपने आप नागरिकों की सुविधा के लिए जारी किया गया है। इसके अलावा आप डायल 112 जो एक आकस्मिक नम्बर है पर भी किसी समय कॉल करके मदद मांग सकते है।
10. ये प्रश्न भी लोगों के दिमाग में रहता है कि शराब पीने से कोरोना में कोई नुकसान तो नही है। तो इसका जवाब है, यदि आप वास्तव में पॉजिटिव है तो आपकों शराब को सेवन बिल्कुल भी नही करना चाहिए।
इसके अलावा शराब पीने से कोरोना हो जायेगा, इस बात की कोई भी पुष्टि नही है। यदि ऐसा होता और शराब से कोरोना फैलता तो सरकार इसको बिक्री हेतु बिल्कुल भी मंजूरी नही देती।
चूंकि ये महामारी अब चरम पर है, तो ये हमारी नैतिक जिम्मेदारी बनती है कि हम सरकार के साथ-साथ भी लोगों को जागरूक करें, कि वो इन नियमों का पालन करें, इस महामारी में सिर्फ सरकार ही अकेले कुछ नही कर सकती है, क्योंकि जब तक देश के नागरिक इस कार्य में सरकार की मदद न करें।
इसलिए जरूरत है इस महामारी में सरकार का सहयोग करने की, न कि सिर्फ सरकार पर सिर्फ आरोप लगाने की।
आप स्वस्थ रहें, अपने परिवार के साथ रहें।
ये भी जान लीजिए।
टीकाकरण के जनक कौन थे?
आज हर तरफ टीकाकरण की बात हो रही है, लेकिन क्या कभी आपने सोचा है कि वैक्सीनेशन के जनक कौन थे। तो आपको बता दे "Edward Jenner" ने टीकाकरण की खोज की थी, और उन्हें ही टीकाकरण का जनक माना जाता है। इनका जन्म 17 मई 1749 को यूनाइटेड किंगडम के बार्कले शहर में हुआ था। एडवर्ड जी एक वैज्ञानिक तथा चिकित्सक थे दुनिया में वैक्सीन बनाने की अवधारणा का श्रेय एडवर्ड जी को ही जाता है। सबसे पहले इन्होनें चेचक के टीके की शुरूआत की।